दिल्ली। आज प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी ने देशवासियों को सम्बोधित किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि इस कोरोना काल में मेडिकल आक्सीजन की बहुत बड़ी जरूरत देखी गई, जिससे निपटने विदेश से भी आक्सीजन लाया गया।
प्रधानमंत्री ने कहा कि कोविड की लड़ाई में सबसे बड़ा हथियार कोविड प्रोटोकॉल ही है, जिसमे दो गज की दूरी और मास्क जरूरी है।
कोरोना में जिन परिवारों ने अपने खोए हैं, उन परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना महामारी बीते 100 वर्षों में आई सबसे बड़ी त्रासदी थी। मोदी ने कहा कि हमने आक्सीजन, वैक्सीनेशन के क्षेत्र में मिशन मोड में काम किया।
प्रधानमंत्री ने कहा कि विश्व के लोग यह सोच रहे थे कि भारत कैसे इस त्रासदी से बच पायेगा, लेकिन हमने देश मे ही दो दो वैक्सीन बनाने में सफलता पाई। हमें पूरा विश्वास था कि हमारे वैज्ञानिक यह कार्य कर लेंगे। सरकार ने वैज्ञानिको, वैक्सीन निर्माताओं का साथ दिया। प्रधानमंत्री ने कहा कि देश में और वैक्सीन पर कार्य जारी है। साथ ही नेजल वैक्सीन पर भी वैक्सीन निर्माताओं द्वारा कार्य चल रहा है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि हमने कोरोना वारियर्स को दूसरी लहर से ही पहले वैक्सीनेट करने में सफलता पाई, जिसके कारण वे फ्रंटलाइन वर्कर लोगों की सेवा में सक्षम हुए।
प्रधानमंत्री ने कहा कि अब वैक्सीनेशन के 25 प्रतिशत कार्य की जिम्मेदारी जो राज्य सरकारों को दी गई थी वह जिम्मेदारी भी केंद्र सरकार उठाएगी। 21 जून, सोमवार से देश के हर राज्य में, 18 वर्ष से ऊपर की उम्र के सभी नागरिकों के लिए, भारत सरकार राज्यों को मुफ्त वैक्सीन मुहैया कराएगी।
अब देश की किसी भी राज्य सरकार को कुछ भी खर्च नहीं करना पड़ेगा। सभी देशवासियों के लिये भारत सरकार मुफ्त वैक्सीन लगाएगी।
जो लोग मुफ्त वैक्सीन नहीं लगाना चाहता उनके लिये प्राइवेट अस्पतालों में वैक्सीनेट करने की व्यवस्था जारी रहेगी, लेकिन वैक्सीन की कीमत सरकार के निर्धारित मूल्यों से ज्यादा नहीं होगी।
प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले वर्ष की तरह से गरीबों के लिये केंद्र सरकार ने अन्न योजना चलाई, इस वर्ष भी प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत दीपावली यानी नवम्बर 2021 तक गरीबों को मुफ्त अनाज दिया जाएगा।
भारत में अब तक 23 करोड़ लोगो को वैक्सीनेट किया गया है। प्रधानमंत्री ने कहा अब कोरोना कर्फ्यू में भले ढील दी जा रही है, लेकिन हमें सतर्क रहना है।