माता सिद्धिदात्री की पूजा नवरात्रि के नौवें दिन की जाती है. उनके नाम का अर्थ, सिद्धी मतलब आध्यात्मिक शक्ति और दात्री मतलब देने वाली. अर्थात् सिद्धी को देने वाली. देवी भक्तों के अंदर की बुराइयों और अंधकार को दूर करती हैं और ज्ञान का प्रकाश भरती हैं.
माता सिद्धिदात्री का स्वरूप
माँ सिद्धिदात्री कमल पर विराजमान हैं और वे शेर की सवारी करती हैं. उनकी चार भुजाएँ हैं जिनमें दाहिने एक हाथ में वे गदा और दूसरे दाहिने हाथ में चक्र तथा दोनों बाएँ हाथ में क्रमशः शंख और कमल का फूल धारण की हुईं हैं. देवी का यह स्वरूप सभी प्रकार की सिद्धियों को देने वाला है.
पौराणिक मान्यता
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार भगवान शिव ने सभी प्रकार की सिद्धियों को पाने के लिए देवी सिद्धिदात्री की उपासना की थी. तब देवी ने उनकी तपस्या से प्रसन्न होकर शिव जी को सभी सिद्धियाँ दीं. तब शिव जी का आधा शरीर देवी सिद्धिदात्री का हो गया. जिसके बाद शिव जी को अर्धनारीश्वर कहा गया.
ज्योतिषीय विश्लेषण
ज्योतिषीय मान्यताओं के अनुसार देवी सिद्धिदात्री केतु ग्रह को नियंत्रित करती हैं. देवी की पूजा से केतु के बुरे प्रभाव कम होते हैं.
मंत्र
ॐ देवी सिद्धिदात्र्यै नमः॥
प्रार्थना मंत्र
सिद्ध गन्धर्व यक्षाद्यैरसुरैरमरैरपि.
सेव्यमाना सदा भूयात् सिद्धिदा सिद्धिदायिनी॥
स्तुति
या देवी सर्वभूतेषु माँ सिद्धिदात्री रूपेण संस्थिता.
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥
ध्यान मंत्र
वन्दे वाञ्छित मनोरथार्थ चन्द्रार्धकृतशेखराम्.
कमलस्थिताम् चतुर्भुजा सिद्धीदात्री यशस्विनीम्॥
आज का पंचांग
दिनांक 4.10.2022
तिथि नवमी
नक्षत्र उत्तराषाढ़
करण तैतुल
पक्ष शुक्ल
योग अतिगंड
वार मंगलवार
सूर्य-चंद्र संबंधी गणनाएं
सूर्योदय 06:30:31
चंद्रोदय 14:34:01
चंद्र राशि मकर
सूर्य राशि कन्या
सूर्यास्त 18:24:
चंद्रास्त 01:48:12
ऋतु शरद
हिंदू मास- एवं-वर्ष
शक सवत्सर १९४४
विक्रम संवत २०७९
हिजरी सन् १४४३
सूर्य दक्षिणायण
दिशा शूल उत्तर
शुभ-अशुभ समय
राहुकाल 15:25 – 16:54
गुलिक काल 12:27 – 13:56
अभिजीत 12:03 – 12:51
यम गंट 09:29 – 10:58
अमृतकाल 16:52 से 18:22
दिन का चौघड़िया
रोग 06:31 – 07:59 अशुभ
उद्वेग 07:59 – 09:29 अशुभ
चर 09:29 – 10:58 शुभ
लाभ 10:58 – 12:27 शुभ
अमृत 12:27 – 13:56 शुभ
काल 13:56 – 15:25 अशुभ
शुभ 15:25 – 16:54 शुभ
रोग 16:54 – 18:23 अशुभ
चोघडिया, रात
काल 18:23 – 19:54 अशुभ
लाभ 19:54 – 21:25 शुभ
उद्वेग 21:25 – 22:56 अशुभ
शुभ 22:56 – 00:27शुभ
अमृत 00:27 – 01:58शुभ
चर 01:58 – 03:29शुभ
रोग 03:29 – 05:00अशुभ
काल 05:00 – 06:31अशुभ
ज्योतिष सेवा केन्द्र
ज्योतिषाचार्य पंडित अतुल शास्त्री
09594318403/09820819501