नवी मुम्बई. कोरोना संक्रमण के बचाव के लिए हुए लॉकडाउन के कारण मुम्बई में फंसे सैकड़ों लोगों की मदद के लिए सामाजिक संगठन लीड फाउंडेशन दिन रात जुटा हुआ है. लाकडउन के कारण रोजगार बंद होने से कई गरीब परिवार व होटलों में काम करने वाले युवा लोग राशन पानी की समस्या से जूझ रहे हैं, ऐसे में लीड फाउंडेशन नवी मुम्बई उन तक राशन पहुंचा कर अपनी सामाजिक भागीदारी निभा रहा है.
होटल कामगार व रोजमर्रा की नौकरी करने वाले लोग पिछले 50 दिनों से काम बन्द होने से आर्थिक तंगी में हैं. वेतन ना मिलने व बीमारी के भय के साथ ही अब घरेलू खानेपीने के सामान की परेशानी में भी हैं. इसी दौरान ठाणे के प्रमोद सेमाल्टी जो कि अपने ग्रुप से साथ वहां राशन व खाना वितरण में लगे हैं उन्हें सेक्टर 20 नेरुल, नवी मुंबई से एक लिस्ट मिली, जिसमें उत्तराखंड के करीब 45-50 लोग 8 अलग अलग कमरों में रह रहे थे. उनके पास राशन खत्म हो चुका था व पैसा सब खत्म हो रहा था. साथ ही अपने गांव जाने की चिंता अलग से.
लीड फाउंडेशन के मुख्य ट्रस्टी कैलाश उदय चन्द ने इन सभी लोगों को फोन पर बात करके उनकी तकलीफें समझने की कोशिश की साथ ही विश्वास दिलाया कि उन लोगों को कोई तकलीफ नहीं होगी. फिर इन्हें डी मार्ट नेरुल से जो भी जरूरी खाने पीने की जरुरत थी, उन्हें तत्काल उपलब्ध कराई. इसके साथ ही एक बेहद ही गरीब लड़के, जिसको गांव में भी पैसों की सख्त जरूरत थी उसे 2000/- रुपए देकर भी उसके गांव तक मदद दी गई.
नवी मुम्बई में जिन बच्चों के पास पढ़ाई लिखाई के लिए संसाधन नहीं हैं, उनकी शिक्षा के लिए काम करने वाली संस्था लीड इन दिनों लाकडाउन में समस्या ग्रस्तों को राशन वितरण के अभियान में भी जुटा है. सामाजिक कार्यों की इस पहल में संस्था से जुड़े कई वॉलंटियर्स अपना आर्थिक सहयोग देते हैं. उत्तराखंड के कई लोगों को लीड फाउंडेशन ने यहां काफल फाउंडेशन व कौथिग फाउंडेशन के साथ मिलकर नवी मुम्बई व मुम्बई के कई लड़कों को राशन पहुंचाई है.
इस मदद के साथ ही कैलाश जी इन लोगों का लागातार हौसला बढ़ा रहे हैं और कुछ परेशानी न हो निरंतर संपर्क में हैं. उल्लेखनीय है कि लीड फाउंडेशन अनेक सामाजिक कार्यों की पहल कर रहा है और उत्तराखंड के बनबसा में भी फाउंडेशन का प्रोजेक्ट पिछले तीन सालों से शुरू है. समय पर मदद पाने वाले परिवारों ने सभी सामाजिक संस्थाओं के साथ ही लीड फाउंडेशन का आभार जयाया है.